गड्ढ़ायुक्त सड़कें समय से ठीक न होने पर होगी कड़ी कार्रवाई: मुख्य सचिव


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मुख्य सचिव ने की ग्रामीण सड़कों से लेकर एक्सप्रेस-वे के कार्यों की समीक्षा
लखनऊ:   उत्तर प्रदेश के मुख्य सचिव श्री दीपक सिंघल ने सड़कों की मरम्मत समय से न होने पर नाराजगी व्यक्त करते हुये कड़े निर्देश दिये हैं कि गड्ढ़ायुक्त सड़कें होने पर सम्बन्धित अभियन्ताओं की जिम्मेदारी नियत कर जवाबदेही तय कर कड़ी कार्रवाई की जायेगी। उन्होंने कहा कि आगामी 03 माह में सड़कों की मरम्मत एवं निर्माणाधीन पुलों को पूर्ण कराने की जिलावार कार्य योजना प्रस्तुत करनी होगी। उन्होंने प्रदेश में एन0एच0ए0आई0 द्वारा निर्मित सड़कों की मरम्मत समय से न होने पर गड्ढायुक्त सड़कों से आम नागरिकों को हो रही असुविधा को दृष्टिगत रखते हुये कड़े निर्देश दिये हैं कि सड़कों की मरम्मत एन0एच0ए0आई0 के अभियन्ताओं द्वारा समय से ठीक न कराने पर उनके विरुद्ध एफ0आई0आर0 दर्ज कराकर कड़ी कार्रवाई की जायेगी।
उन्होंने यह भी निर्देश दिये कि निर्माणाधीन अथवा निर्मित सड़कों के बारे में आम नागरिकों को जानकारी उपलब्ध कराने हेतु पूर्ण विवरण सहित चिन्हीकरण बोर्ड लगवाये जायें, ताकि आम नागरिकों को यह अवश्य जानकारी हो सके कि निर्माणाधीन सड़कें किन विभागों द्वारा और कितनी धनराशि से बनायी जा रही हैं। उन्होंने निर्माणाधीन सड़कों की मरम्मत नियमानुसार निर्धारित अवधि के अनुसार अधिकतम 07 दिन के अन्दर सम्बन्धित ठेकेदार द्वारा मरम्मत न कराये जाने पर उनके विरुद्ध एफ0आई0आर0 दर्ज कराकर ब्लैक लिस्टेड कराये जाने के भी निर्देश दिये हैं। उन्होंने अभियन्ताओं को कड़े निर्देश दिये हैं कि प्रदेश की जनता को आवागमन हेतु गड्ढ़ामुक्त सड़कें हर हालत में उपलब्ध करानी होगी।
मुख्य सचिव आज शास्त्री भवन स्थित अपने कार्यालय कक्ष के सभागार में नेशनल हाईवे/प्रधानमंत्री ग्राम सड़क योजना एवं लोक निर्माण विभाग तथा ग्रामीण अभियंत्रण विभाग आदि द्वारा निर्मित सड़कों की मरम्मत एवं निर्माणाधीन सड़कों एवं पुलों की प्रगति की समीक्षा कर विभागीय अभियन्ताओं को आवश्यक निर्देश दे रहे थे। उन्होंने एन0एच0ए0आई0 द्वारा प्रदेश में निर्मित 05 अतिग्रस्त सड़कों जैसे-बनारस से गोरखपुर-आजमगढ़, अलीगढ़ से कानपुर, रामपुर से रुद्रपुर, बरेली से सीतापुर, बरेली से पीलीभीत तथा बरेली से जौनपुर का संयुक्त रूप से निरीक्षण कर ड्रोन कैमरा से वीडियोग्राफी कराकर वास्तविकता सामने लायी जाये। उन्होंने कहा कि क्षतिग्रस्त सड़कों की मरम्मत समय से न होने पर सम्बन्धित अधिशासी अभियन्ता के विरुद्ध आवश्यक कार्यवाही हेतु संस्तुति करने के साथ-साथ अधीक्षण अभियन्ता श्री ए0के0गुप्ता को स्वयं स्थल पर जाकर निरीक्षण करने के निर्देश दिये।
उन्होंने कहा कि एन0एच0ए0आई0 द्वारा निर्मित सड़कों की मरम्मत समय से न होने पर आम नागरिकों को आवागमन हेतु असुविधा होने के साथ-साथ सड़क दुर्घटनायें ज्यादा हो रही हैं। उन्होंने एन0एच0ए0आई0 के चेयरमैन के साथ आगामी सप्ताह बैठक भी आयोजित कराने के निर्देश देते हुये कहा कि एन0एच0ए0आई0 द्वारा यदि अपनी सड़कों की मरम्मत समय से नहीं करायी गयी, तो उत्तर प्रदेश सरकार आम जनता के हित में अपने वित्तीय संसाधनों से सड़कों की मरम्मत करायेगी।
श्री सिंघल ने लोक निर्माण विभाग द्वारा निर्मित सड़कों की मरम्मत की समीक्षा करते हुये निर्देश दिये कि निर्मित सड़कों के साथ-साथ क्षतिग्रस्त सड़कें आगामी दिसम्बर तक ठीक होने का प्रमाण पत्र सम्बन्धित मुख्य अभियन्ता को देना होगा। उन्होंने कहा कि निर्माणाधीन सड़कों का निर्माण धनराशि के अभाव में अथवा अन्य कतिपय कारणों से अधूरा न छोड़कर समस्याओं का समाधान समय से कराकर सड़कें लक्षित किलोमीटर के अनुसार पूर्ण ही बनावाई जायें। उन्होंने सड़कों को टुकड़ों में न बनाकर पूरी सड़क का निर्माण कराने के निर्देश दिये। उन्होंने कहा कि जनपदवार बनायी जा रही सड़कों का विवरण अलग-अलग विस्तृत रूप से प्रस्तुत किया जाये। उन्होंने प्रधानमंत्री ग्राम सड़क योजना के अन्तर्गत बनायी जाने वाली सड़कों की मरम्मत समय से कराने हेतु सम्बन्धित विभाग के साथ-साथ सम्बन्धित ठेकेदारों की भी जिम्मेदारी नियत करने के निर्देश दिये।
मुख्य सचिव ने लोक निर्माण विभाग में आम नागरिकों की शिकायतें सुनने हेतु काॅल सेण्टर खोलने के निर्देश देते हुये कहा कि हेल्पलाइन नम्बर का व्यापक प्रचार-प्रसार कराया जाये, ताकि आम नागरिक सड़कों की मरम्मत आदि की जानकारी अथवा शिकायत दर्ज करा सकें। उन्होंने कहा कि गड्ढ़ायुक्त सड़कों की मरम्मत के उपरान्त फोटो विभागीय वेबसाइट पर भी अपलोड करायी जाये, ताकि अभियन्ताओं के कार्यों में और अधिक पारदर्शिता आ सके।
श्री सिंघल ने प्रदेश में विगत 04 वर्षों में प्रदेश सरकार द्वारा अपने वित्तीय संसाधनों से लगभग 5000 करोड़ रुपये खर्च कर विगत जून, 2016 तक पूर्ण कराये गये 287 पुलों के कार्यों की प्रशंसा करते हुये कहा कि वर्तमान वित्तीय वर्ष में लक्षित 214 निर्माणाधीन पुलों में से 24 पूर्ण हो जाने के फलस्वरूप अवशेष 190 पुलों के अवशेष निर्माण कार्यों को आगामी दिसम्बर माह तक पूर्ण कराने हेतु 03 दिन में प्लान बनाकर प्रस्तुत करें। उन्होंने यह भी निर्देश दिये कि लोक निर्माण विभाग में एक कमाण्ड सेण्टर का निर्माण कराकर जी0पी0एस0 के माध्यम से अभियन्ताओं के स्थलीय निरीक्षण की जानकारी प्राप्त करने की व्यवस्था सुनिश्चित करायी जाये। उन्होंने कहा कि स्वीकृत सड़कों के निर्माण हेतु निर्गत धनराशि का टेण्डर नियमानुसार यथाशीघ्र कराकर निर्माण कार्य तत्काल प्रारम्भ करा दिया जाये। उन्होंने लोक निर्माण विभाग में अनुभवी अभियन्ता को नोडल अधिकारी नामित कर वांछित सूचनायें प्राप्त किये जाने की व्यवस्था भी सुनिश्चित कराने के निर्देश दिये हैं।
मुख्य सचिव ने प्रधानमंत्री ग्राम सड़क योजना के कार्यों की समीक्षा करते हुये निर्देश दिये कि विगत जून माह तक लोक निर्माण विभाग द्वारा 149 एवं ग्रामीण अभियंत्रण सेवा द्वारा 69 अर्थात 218 सड़कों का निर्माण कराकर गैर जुड़ी बसावटों को एकल सम्पर्कता के आधार पर पक्के मार्गों से जोड़ने का कार्य किया गया है। उन्होंने कहा कि आगामी दिसम्बर, 2016 तक लोक निर्माण विभाग द्वारा 198 एवं ग्रामीण अभियंत्रण सेवायें द्वारा 197 अर्थात कुल 395 सड़कों का निर्माण कराकर गैर जरूरी बसावटों को एकल सम्पर्कता के आधार पर पक्के मार्गों से जोड़ने के कार्य को प्राथमिकता पर सुनिश्चित कराया जाये।
बैठक में प्रमुख सचिव ग्राम्य विकास श्री दीपक त्रिवेदी, प्रमुख सचिव ग्रामीण अभियंत्रण सेवायें श्री महेश गुप्ता, मुख्य कार्यपालक अधिकारी उपशा श्री नवनीत सहगल, सचिव लोक निर्माण श्री अनुराग यादव, प्रमुख स्टाफ आॅफिसर मुख्य सचिव श्री भुवनेश कुमार सहित विभागीय वरिष्ठ अभियन्तागण उपस्थित थे।

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