सड़क पर चलने वाले प्रत्येक व्यक्ति का जीवन महत्वपूर्ण ,सड़क दुर्घटनाओं का विश्लेषण कर दुर्घटनाओं को न्यूनतम स्तर पर लाने का करें प्रयास—मुख्य सचिव


22 अप्रैल से 04 मई, 2024 तक विशेष अभियान चलाकर लोगों को सड़क सुरक्षा के प्रति किया जाये जागरूक

सभी ट्रैक्टर व ट्राली में रिफ्लेक्टिव टेप अनिवार्य रूप से होना चाहिये लगा रिफ्लेक्टिव टेप लगा न होने पर सम्बन्धित से दोगुना चार्ज किया जाये वसूल

लखनऊ| प्रदेश के मुख्य सचिव श्री दुर्गा शंकर मिश्र की अध्यक्षता में सड़क सुरक्षा की समीक्षा बैठक आयोजित की गई। बैठक में सड़क दुर्घटनाओं में कमी लाने के लिये चर्चा की गई।
       अपने संबोधन में मुख्य सचिव ने कहा कि सड़क पर चलने वाले प्रत्येक व्यक्ति का जीवन महत्वपूर्ण है। सड़क दुर्घटना में व्यक्ति घायल, अपंग अथवा मृत्यु हो जाती है, जिसका प्रभाव उसके पूरे परिवार पर पड़ता है। यह एक संवेदनशील मुद्दा है, सड़क दुर्घटनाओं में कमी लाने के लिये सम्बन्धित विभागों द्वारा प्रभावी कार्रवाई करनी होगी। गत वर्षों में हुई सड़क दुर्घटनाओं का विश्लेषण कर सड़क दुर्घटनाओं को न्यूनतम स्तर पर लाने का प्रयास करें। सड़क दुर्घटना में घायलों के लिये गोल्डेन ऑवर महत्वपूर्ण होता है। घायल व्यक्ति की जान बचाने के लिये गोल्डेन ऑवर में उसे समुचित इलाज दिलाने का प्रयास करें।
      उन्होंने कहा कि लोक सभा चुनाव एवं वैवाहिक कार्यक्रम आदि होने के कारण लोगों का मूवमेंट बढ़ेगा। उन्होंने 22 अप्रैल से 04 मई, 2024 तक विशेष अभियान चलाकर लोगों को सड़क सुरक्षा के प्रति जागरूक करने के निर्देश दिये। उन्होंने कहा कि अभियान के दौरान शैक्षिक संस्थानों में सड़क सुरक्षा व यातायात नियमों के बारे में चर्चा की जाये। इसके अलावा पुलिस अधिकारी भी जाकर छात्र-छात्राओं को यातायात नियमों के बारे में जागरूक करें। आम नागरिकों को जागरूक करने के लिये बच्चों के द्वारा प्रभात फेरी भी निकाली जा सकती है।
        उन्होंने कहा कि सभी ट्रैक्टर व ट्राली में रिफ्लेक्टिव टेप अनिवार्य रूप से लगा होना चाहिये। रिफ्लेक्टिव टेप लगा न होने पर सम्बन्धित से दोगुना चार्ज वसूल किया जाये। उन्होंने रिफ्लेक्टिव टेप लगाने के लिये वेण्डर को पेट्रोल पंप पर स्टॉल लगाने का सुझाव दिया, इससे वाहन चालक सुगमता से अपने वाहन में रिफ्लेक्टिव टेप लगवा सकेंगे। सड़क सुरक्षा नियमों पर आधारित फिल्म, जिंगल बेल आदि बनाकर तथा सोशल मीडिया, एसएमएस आदि विभिन्न प्रचार-प्रसार माध्यमों से आम नागरिकों के मध्य प्रसारित किया जाये। जिस समय, स्थान, मेला, पर्व या त्योहार पर सड़क दुर्घटनायें अधिक होती हैं, ऐसे समय में सड़क सुरक्षा के बारे में लोगों को विशेष तौर पर जागरूक करें और सड़क दुर्घटना में कमी लाने के लिये प्रभावी कार्रवाई करें। सड़क दुर्घटनाओं में कमी लाने के लिये रोड सेफ्टी क्लब, रेड क्रास सोसाइटी, सिविल डिफेन्स जैसी स्वयंसेवी संस्थाओं को भी सहयोग लिया जाये।
        उन्होंने यह भी निर्देश दिये कि एक सप्ताह का विशेष अभियान चलाकर नेशनल एवं स्टेट हाईवे पर अवैध कट को बंद कराया जाये। अवैध कट बनाने वाले लोगों को चिन्हित कर एफआईआर दर्ज करायी जाये। उन्होंने कहा कि आम लोगों द्वारा हाईवे पर निर्मित फुट ओवर ब्रिज के उपयोग को बढ़ावा देने के लिये लोगों को शिक्षित करने पर जोर दिया। लोगों को अपने व्यवहार में परिवर्तन लाने के लिये फुट ओवर ब्रिज के समीप एक क्रिएटिव बोर्ड लगवाने के लिये कहा, जिससे कि रोड क्रास करते समय लोग देखें कि उनके लिये समय ज्यादा महत्वपूर्ण है या उनका जीवन।
        उन्होंने यह भी कहा कि लिंक रोड से हाईवे पर आते समय वाहनों की स्पीड नियंत्रित होनी चाहिये। वाहन की गति को नियंत्रित करने के लिये साइनेजज् और स्पीड ब्रेकर बनवाये जायें। लिंक रोड से हाईवे की कनेक्टिविटी सर्विस लेन के माध्यम से हो। उन्होंने कहा कि चिन्हित ब्लैक स्पॉट पर सम्बन्धित विभागों द्वारा की गई कार्यवाही की समीक्षा के लिये एक पोर्टल विकसित किया जाये, जिसमें सड़क दुर्घटनाओं के आधार पर चिन्हित ब्लैक स्पॉट को दर्ज किया जाये। ब्लैक स्पॉट चिन्हित होने के उपरान्त सम्बन्धित विभाग द्वारा उठाये गये अस्थाई व दीर्घकालिक सुधारात्मक कदमों को वीडियो अथवा फोटो सहित पोर्टल पर दर्ज कराने की व्यवस्था की जाये। सड़क दुर्घटनाओं में कमी लाने के लिये ट्रैफिक पुलिस भी पूरी तरह एक्टिव रहे।
        बैठक में प्रमुख सचिव परिवहन श्री एल0वेंकटेश्वर लू, प्रमुख सचिव नगर विकास श्री अमृत अभिजात, प्रमुख सचिव उच्च शिक्षा श्री महेन्द्र प्रसाद अग्रवाल, प्रमुख सचिव लोक निर्माण श्री अजय चौहान, एडीजी ट्रैफिक श्री बी0डी0पॉलसन, परिवहन आयुक्त श्री चन्द्र भूषण सिंह सहित सम्बन्धित विभागों तथा नेशनल हाईवे अथॉरिटी ऑफ इंडिया के अधिकारीगण आदि उपस्थित थे।


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